यूँ देखा जाए तो यह साल पूरी दुनिया के लिए ही खासा उथल पुथल वाला साल रहा. वहाँ भारत में नोटबंदी हंगामा मचाये रही, उधर अमरीका में विचित्र परिस्थितियों में डोनाल्ड ट्रंप की जीत हो गई और इधर ब्रिटेन ने यूरोपीय संघ से किनारा कर लिया. हालाँकि रेफेरेंडम के नतीजे आने के तुरंत बाद ही इन्टरनेट पर उसे लेकर पछतावे की…
लोकप्रिय प्रविष्टियां
वोआते थे हर साल। किसी न किसी बहाने कुछ फरमाइश करते थे। कभी खाने की कोई खास चीज, कभी कुछ और। मैं सुबह उठकर बहन को फ़ोन पे अपना वह सपना बताती, यह सोचकर कि बाँट लुंगी कुछ भीगी बातें। पता चलता कि एक या दो दिन बाद उनका श्राद्ध है। मैं अवाक रह जाती। मुझे देश से बाहर होने…
रहे बैठे यूँ चुप चुप पलकों को इस कदर भींचे कि थोडा सा भी गर खोला ख्वाब गिरकर खो न जाएँ . थे कुछ बचे -खुचे सपने नफासत से उठा के मैने सहेज लिया था इन पलकों में जो खोला एक दिन कि अब निहार लूं मैं जरा सा उनको तो पाया मैंने ये कि सील गए थे सपने आँखों के खारे पानी से …